Skip to content
  • Home
  • Blogs
  • About us
  • Privacy Policy
  • Contact Us
  • Term & Conditions

SUCCESS motivation

SUCCESS Step by step

  • Home
  • Blogs
  • About us
  • Privacy Policy
  • Contact Us
  • Term & Conditions
Menu

सेल्फ रिस्पेक्ट का महत्व

by rockingrohan523@gmail.comPosted on August 28, 2025

जीवन में सफलता, खुशी और आत्मविश्वास पाने के लिए जरूरी है कि हम खुद का सम्मान करें। इसे ही सेल्फ रिस्पेक्ट कहा जाता है। अगर हम खुद को महत्व नहीं देंगे, तो कोई और भी हमें सम्मान नहीं देगा। इस ब्लॉग में हम जानेंगे कि सेल्फ रिस्पेक्ट क्यों जरूरी है और इसे कैसे बनाए रखा जा सकता है।

सेल्फ रिस्पेक्ट क्या है?

सेल्फ रिस्पेक्ट का अर्थ है अपने आप को सम्मान देना और अपनी व्यक्तिगत पहचान के प्रति जागरूक रहना। यह एक ऐसी भावना है, जो हमें अपनी भावनाओं, विचारों और इच्छाओं का सम्मान करने की प्रेरणा देती है। जब हम अपने प्रति आदर रखते हैं, तब हम अपनी क्षमताओं और कमजोरियों को समझते हुए एक संतुलित दृष्टिकोण अपनाते हैं। सेल्फ रिस्पेक्ट का विकास जीवन के अनेक क्षेत्रों में सकारात्मक परिवर्तन ला सकता है।

सेल्फ-रिस्पेक्ट व्यक्ति की मानसिक और भावनात्मक स्वास्थ्य के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण है। यह आत्मविश्वास को बढ़ाता है और हमें अपने निर्णय लेने में सक्षम बनाता है। जब व्यक्ति अपनी मान्यता को समझता है और उसे संरक्षित करता है, तो वह अपने अभियानों, संबंधों और जीवन के लक्ष्यों के प्रति ज्यादा समर्पित हो जाता है। यह व्यक्ति को समाज में स्वीकार्यता और प्रतिष्ठा प्राप्त करने में मदद करता है। एक उच्च सेल्फ रिस्पेक्ट व्यक्ति को आपसी संबंधों में भी संतुलित रखने में सहायता करता है, क्योंकि जब आप अपने प्रति सम्मानित होते हैं, तब आप दूसरों का भी सम्मान करने की प्रवृत्ति रखते हैं।

इसके अतिरिक्त, सेल्फ-रिस्पेक्ट उन चुनौतियों का सामना करने में सहायता करता है, जो जीवन में सामने आती हैं। जो लोग अपने प्रति सकारात्मक दृष्टिकोण रखते हैं, वे कठिनाईयों का सामना करने में अधिक सक्षम होते हैं। वे समस्याओं का समाधान खोजने में मेहनती होते हैं और निरंतर आगे बढ़ने के लिए प्रेरित रहते हैं। इसलिए, सेल्फ रिस्पेक्ट सिर्फ एक भावना नहीं है, बल्कि यह जीवन के हर पहलू में सफलता प्राप्त करने का एक महत्वपूर्ण साधन है।

सेल्फ रिस्पेक्ट का मनोवैज्ञानिक महत्व

सेल्फ रिस्पेक्ट woman in white vest and black bikini with hand on chest
Photo by Darius Bashar on Unsplash

सेल्फ रिस्पेक्ट, या आत्म-सम्मान, व्यक्ति के मानसिक स्वास्थ्य और समग्र भलाई में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। जब हम अपने प्रति आदर और मूल्य रखते हैं, तो यह हमारी आत्म-प्रतिष्ठा को बढ़ाता है और आत्म-विश्वास को मजबूत बनाता है। ऐसे व्यक्ति जो अपनी आत्म-सम्मान का ध्यान रखते हैं, वे न केवल अपने भीतर संतोष और खुशी का अनुभव करते हैं, बल्कि वे दूसरों के साथ भी स्वस्थ संबंध स्थापित करने में सक्षम होते हैं।

मनोवैज्ञानिक दृष्टिकोण से, सेल्फ रिस्पेक्ट व्यक्ति के मानसिक स्वास्थ्य के लिए अभिन्न है। यह मनुष्य के प्रभावी निर्णय लेने की क्षमता को बढ़ाता है। जब किसी व्यक्ति में आत्म-सम्मान होता है, तो वह अपने विचारों और भावनाओं को समझने और व्यक्त करने की क्षमता लगातार विकसित करता है। इस प्रकार, आत्म-सम्मान सकारात्मक सोच और व्यवहार को बढ़ावा देता है, जिससे व्यक्ति की मानसिक स्थिति बेहतर होती है।

इसके अलावा, सेल्फ रिस्पेक्ट हमें आत्म-विश्लेषण और आत्म-प्रगति के लिए प्रेरित करता है। जब हम खुद को मूल्यवान समझते हैं, तो हम अपनी गलतियों से सीखने के लिए खुलते हैं और अपने कमजोरियों पर काम करने का साहस पाते हैं। यह न केवल स्थायी आत्म-सम्मान को बढ़ाता है, बल्कि जीवन की चुनौतियों का सामना करने में भी मदद करता है। शोध से यह भी पता चलता है कि आत्म-सम्मान का अभाव विभिन्न मानसिक स्वास्थ्य समस्याओं जैसे चिंता और डिप्रेशन का कारण बन सकता है। इसलिए, सेल्फ रिस्पेक्ट का विकास करना किसी के मानसिक स्वास्थ्य में सुधार लाने के लिए आवश्यक है।

सेल्फ रिस्पेक्ट और संबंध

सेल्फ-रिस्पेक्ट, या आत्म-सम्मान, हमारे व्यक्तिगत संबंधों को महत्वपूर्ण रूप से प्रभावित करता है। जब हम अपने आप का सम्मान करते हैं, तब हम अपने आस-पास के लोगों से भी सम्मान की अपेक्षा करते हैं। यह स्वाभाविक है कि अपने भीतर विश्वास रखने वाले लोग दूसरों के सामने भी अपनी सीमाएँ निर्धारित करने में सक्षम होते हैं। इसीलिए, सेल्फ रिस्पेक्ट और संबंधों के बीच एक गहरा संबंध है।

जब कोई व्यक्ति अपने मूल्य और गरिमा को समझता है, तो वह दूसरों के साथ एक स्वस्थ आधार पर बातचीत करने में सक्षम होता है। ऐसे व्यक्ति अपने इरादों को स्पष्ट रूप से व्यक्त कर सकते हैं और अपने भावनात्मक संतुलन के साथ संबंधों को मज़बूत बनाए रखते हैं। इससे यह सुनिश्चित होता है कि वे न केवल खुद को, बल्कि दूसरों को भी सम्मान दें। जब हम अपने द्वारा निर्धारित सीमाओं के प्रति सजग रहते हैं, तो हम अपने संबंधों में कई सकारात्मक पहलुओं को देख सकते हैं।

इसके विपरीत, जिन लोगों में सेल्फ रिस्पेक्ट की कमी होती है, वे अक्सर दूसरों से अत्यधिक उम्मीदें या दबाव डालते हैं। यह स्थिति नकारात्मकता और संघर्ष का कारण बन सकती है। ऐसे व्यक्तियों को अपनी स्वीकृति और प्यार के लिए दूसरों की मदद या स्वीकृति की आवश्यकता महसूस होती है। इसके परिणामस्वरूप संबंधों में तनाव और असंतोष उत्पन्न हो सकता है।

इसलिए, यह आवश्यक है कि हम अपने आत्म-सम्मान को विकसित करें। जब हम सेल्फ रिस्पेक्ट का आदान-प्रदान करते हैं, तो यह न केवल हमारे लिए, बल्कि हमारे आस-पास के लोगों के लिए भी एक बेहतर अनुभव बनाता है। सही मायने में एक संतुलित और सकारात्मक संबंध स्थापित करने के लिए, आत्म-सम्मान का होना अनिवार्य है।

सेल्फ रिस्पेक्ट कैसे विकसित करें?

सेल्फ रिस्पेक्ट, या आत्म-सम्मान, व्यक्तियों के लिए एक महत्वपूर्ण मनोवैज्ञानिक कारक है जो उनकी जीवन की गुणवत्ता को प्रभावित करता है। इसे विकसित करने के लिए कई उपाय किए जा सकते हैं, जिनमें सकारात्मक सोच, आत्म-स्वीकृति, और आत्म-परवाह शामिल हैं।

सकारात्मक सोच एक ऐसा उपाय है जो सेल्फ रिस्पेक्ट को बढ़ावा देता है। जब एक व्यक्ति अपने विचारों में सकारात्मकता लाता है, तो वह अपने आत्म-सम्मान को मजबूत कर सकता है। यह उपयोगकर्ता को अपनी क्षमताओं और महत्व को समझने में मदद करता है। जब आप खुद पर विश्वास करते हैं, तब आप अपने सहयोगियों या समाज के आलोचनाओं को भी गंभीरता से नहीं लेते हैं। सकारात्मक सोच से न केवल आत्म-सम्मान बढ़ता है, बल्कि यह मानसिक स्वास्थ्य में भी सुधार लाता है।

इसके अतिरिक्त, आत्म-स्वीकृति भी महत्वपूर्ण है। यह मन की स्थिति है जिसमें व्यक्ति अपनी कमियों और कमजोरियों को स्वीकारता है। जब हम खुद को बिना किसी शर्त के स्वीकार करते हैं, तो हम अपने मूल्य को पहचानते हैं और खुद को बेहतर समझते हैं। आत्म-स्वीकृति से आत्म-सम्मान बढ़ता है क्योंकि यह व्यक्ति को सचेत करता है कि वे अपने आप में मूल्यवान हैं, भले ही उनके पास कुछ कमजोरियां हों।

अंत में, आत्म-परवाह भी सेल्फ रिस्पेक्ट के विकास में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। जब हम अपनी शारीरिक और मानसिक भलाई का ध्यान रखते हैं, तो यह हमारे आत्म-सम्मान को मजबूत करता है। नियमित व्यायाम, सही खान-पान, और मानसिक स्वास्थ्य के लिए कदम उठाना, ये सभी आत्म-परवाह के अंतर्गत आते हैं। जब आप अपने प्रति दयालु और सहानुभूतिपूर्ण होते हैं, तो यह आपका आत्म-सम्मान और सेल्फ रिस्पेक्ट को दृढ़ बनाता है।

सामाजिक महत्व

सेल्फ रिस्पेक्ट, जिसे स्वयं की गरिमा और मान का प्रतीक माना जाता है, सामाजिक संदर्भ में अत्यंत महत्वपूर्ण है। यह न केवल व्यक्तियों के बीच संबंधों को प्रभावित करता है, बल्कि पूरे समाज की संरचना को भी निर्धारित करता है। जब लोग अपने प्रति सम्मान का अनुभव करते हैं, तो वे सामाजिक जीवन में और अधिक सक्रिय रूप से भाग लेते हैं। यह सहभागिता सामाजिक बदलाव के लिए एक प्रेरक शक्ति बन सकती है, जो सभी समुदायों के लिए लाभकारी होती है।

एक स्वस्थ सेल्फ रिस्पेक्ट समाज में समानता और न्याय का निर्माण करता है। जब लोग अपने अधिकारों की समझ रखते हैं और स्वयं को सम्मानित समझते हैं, तो वे समाज में असमानताओं के खिलाफ खड़े हो सकते हैं। यह न केवल उनके लिए, बल्कि दूसरों के लिए भी प्रेरणा का स्रोत बनता है। जिस समाज में सेल्फ रिस्पेक्ट का प्रचार-प्रसार होता है, वहां सहयोग, सामंजस्य और आपसी सम्मान देखने को मिलता है।

सेल्फ रिस्पेक्ट और सामाजिक गरिमा की अवधारणाएं परस्पर जुड़ी हुई हैं। जब कोई व्यक्ति अपने आपको अपने संस्कारों और पहचान के अनुसार मूल्यवान मानता है, तो वह समाज में बेहतर स्थिति में रह सकता है। यह सामाजिक समरसता को बढ़ावा देने का कार्य करता है। इसलिए, सेल्फ रिस्पेक्ट एक ऐसी नींव है, जिस पर समाज की भलाई का निर्माण हो सकता है।

अंततः, सेल्फ रिस्पेक्ट का सामाजिक महत्व अत्यधिक है। यह न केवल व्यक्तिगत जीवन में सुधार लाता है, बल्कि समाज में बेहतर संबंध और सहयोग को भी प्रोत्साहित करता है। जब हम सभी व्यक्तियों के सेल्फ रिस्पेक्ट का आदर करेंगे, तो समाज में गरिमा और समानता की भावना मजबूत होगी।

सेल्फ रिस्पेक्ट और सफलता

सेल्फ रिस्पेक्ट, जिसे आत्म-सम्मान के रूप में भी जाना जाता है, व्यक्तिगत विकास और सफलता में एक महत्वपूर्ण भूमिका निभाता है। जब व्यक्ति खुद का सम्मान करता है, तो वह अपने निर्णयों और कार्यों में अधिक आत्मविश्वास महसूस करता है। यह आत्मविश्वास न केवल व्यक्तिगत जीवन में सुधार करता है बल्कि पेशेवर स्थलों पर भी उत्कृष्टता की ओर ले जाता है। ऐसे व्यक्ति, जो अपने आप को महत्व देते हैं, वे अपने लक्ष्यों के प्रति अधिक प्रतिबद्ध होते हैं और सफलता पाने के लिए आवश्यक प्रयास करने में हिचकिचाते नहीं हैं।

इसके अलावा, सेल्फ रिस्पेक्ट हमें सकारातमक सोच और सकारात्मक आत्म-छवि विकसित करने में मदद करता है। जब व्यक्ति खुद को महत्वपूर्ण मानता है, तो वह नकारात्मक विचारों और बाहरी आलोचनाओं से प्रभावित नहीं होता। इस प्रकार, वे अपने लक्ष्य की ओर बढ़ते रहते हैं और बाधाओं का सामना बेहतर तरीके से कर पाते हैं। यह मानसिक स्थिति उन्हें इस प्रक्रिया में अधिक लचीला बनाती है, जिससे वे अपने कौशल का सही उपयोग कर सकें और सफलता की ओर तेजी से बढ़ सकें।

जब हम सेल्फ रिस्पेक्ट को अपने जीवन का हिस्सा बनाते हैं, तो हम न केवल अपने व्यक्तिगत और पेशेवर जीवन में प्रगति करते हैं, बल्कि दूसरों के साथ हमारे संबंध भी मजबूत होते हैं। एक व्यक्तित्व जो अपने आप को स्वीकार करता है, वह दूसरों के प्रति भी अधिक सहज और सच्चा होता है। इस प्रकार, सेल्फ रिस्पेक्ट ना केवल व्यक्ति को ताकत देता है, बल्कि उसे समाज में एक सकारात्मक प्रभाव उत्पन्न करने का अवसर भी प्रदान करता है।

इसलिए, यह स्पष्ट है कि सेल्फ रिस्पेक्ट और सफलता का गहरा संबंध है। जब हम अपने आप को मानते हैं, हम वास्तव में अपनी संभावनाओं को अनलॉक करते हैं और लक्ष्य की ओर अग्रसर होते हैं।

सेल्फ रिस्पेक्ट की कमी के प्रभाव

सेल्फ रिस्पेक्ट, जिसे आत्म-सम्मान भी कहा जाता है, किसी व्यक्ति की अपनी क्षमता और मूल्य के प्रति धारणा है। जब किसी व्यक्ति में सेल्फ रिस्पेक्ट की कमी होती है, तो इसका प्रभाव उसके व्यक्तिगत और सामाजिक जीवन पर गहरा होता है। सबसे पहले, ऐसी स्थिति में मानसिक स्वास्थ्य गंभीर रूप से प्रभावित हो सकता है। व्यक्ति में आत्म-संदेह, चिंताओं और अवसाद के लक्षण विकसित हो सकते हैं, जो उसके दैनिक जीवन को कठिन बना देते हैं।

इसके अलावा, सेल्फ रिस्पेक्ट की कमी सामाजिक संबंधों पर भी नकारात्मक प्रभाव डाल सकती है। ऐसे व्यक्ति अक्सर दूसरों की राय और मूल्याकंन को अत्यधिक महत्व देते हैं, जिसके कारण वे अपने विचारों को व्यक्त करने में संकोच कर सकते हैं। यह स्थिति मित्रता और पारिवारिक संबंधों में तनाव पैदा कर सकती है, क्योंकि वे अपने मन की बात साझा करने में असमर्थ होते हैं।

श्रमिकों और व्यावसायिक व्यक्तियों में सेल्फ रिस्पेक्ट की कमी कार्यस्थल पर भी समस्याएं उत्पन्न कर सकती है। जब व्यक्ति अपनी क्षमताओं पर विश्वास नहीं करते हैं, तो वे अपने कार्यों में लापरवाही बरत सकते हैं और अपने लक्ष्यों को प्राप्त करने में नाकाम हो सकते हैं। इससे न केवल उनका खुद का करियर प्रभावित होता है, बल्कि टीम कार्य की गुणवत्ता पर भी नकारात्मक प्रभाव पड़ता है।

अंततः, सेल्फ रिस्पेक्ट की कमी से पैदा होने वाली समस्याएँ व्यक्ति के सम्पूर्ण जीवन में बाधाएँ उत्पन्न करती हैं। इसलिए, सेल्फ रिस्पेक्ट को बढ़ावा देना और उसे बनाए रखना अत्यंत आवश्यक है। आत्म-सम्मान की खेती करना न केवल व्यक्तिगत विकास के लिए महत्वपूर्ण है, बल्कि व्यक्तिगत संतोष की भावनाओं को भी जगाता है।

सेल्फ रिस्पेक्ट को बनाए रखने के टिप्स

सेल्फ रिस्पेक्ट, या आत्म-सम्मान, को बनाए रखना एक महत्वपूर्ण कार्य है जिसे समझदारी और ध्यान से किया जाना चाहिए। इसके लिए कुछ प्रभावी टिप्स निम्नलिखित हैं, जिन्हें अपनाकर हम अपनी सेल्फ रिस्पेक्ट को मजबूत कर सकते हैं।

सबसे पहले, आत्म-स्वीकृति पर ध्यान दें। खुद को स्वीकार करना और अपने गुणों, सीमाओं और असफलताओं को समझना आवश्यक है। जब आप खुद को बिना किसी शर्त के स्वीकार करते हैं, तो आप अपनी सेल्फ रिस्पेक्ट को बनाए रखने में सक्षम होते हैं। यह स्वीकृति आत्मविश्वास को भी बढ़ाती है और आपको अपने भीतर सकारात्मकता के साथ जीने के लिए प्रेरित करती है।

दूसरा, अपनी सीमाओं का सम्मान करें। जब आप अपनी जरूरतों का ध्यान रखते हैं और दूसरों की अपेक्षाओं से अपने आपको अलग रखते हैं, तो यह आपकी सेल्फ रिस्पेक्ट को बढ़ाता है। अपने लिए “नहीं” कहना सीखें जब आपकी सीमाओं का उल्लंघन होता है। यह न केवल आपकी स्वयं की रक्षा करता है, बल्कि दूसरों को भी यह संदेश भेजता है कि आप अपनी सेल्फ रिस्पेक्ट की कितनी कदर करते हैं।

तीसरा, सकारात्मक आत्मसंवाद को अपनाएं। अपनी सोच का तरीका बदलें और अपने आप से सकारात्मक बातें करें। नकारात्मक विचारों को चुनौती दें और उन्हें सकारात्मकता में बदलें। जब आप अपने आप से सहानुभूति और समझदारी के साथ बात करते हैं, तो यह आपकी सेल्फ रिस्पेक्ट को बढ़ाता है।

अंत में, जीवन के प्रति एक स्वस्थ दृष्टिकोण बनाए रखें। हर व्यक्ति अलग है और अपने आवश्यकताओं के अनुसार प्रगति करता है। अपनी यात्रा पर ध्यान दें और तुलना से बचें। स्वतंत्रता और आत्मनिर्भरता आपके सेल्फ रिस्पेक्ट को बनाए रखने के लिए अत्यंत महत्वपूर्ण हैं।

निष्कर्ष

सेल्फ रिस्पेक्ट का महत्व हमारे जीवन में अत्यधिक है। यह केवल एक व्यक्तिगत भावना नहीं है, बल्कि यह हमारे दैनिक जीवन में विभिन्न पहलुओं को प्रभावित करता है। जब हम अपने आत्म-सम्मान को समझते और स्वीकार करते हैं, तो हम खुद को एक मजबूत, आत्मविश्वासी व्यक्ति के रूप में देखते हैं। एक उच्च स्तर का सेल्फ रिस्पेक्ट हमारी सोच में स्पष्टता लाता है और हमें अपने निर्णय लेने की प्रक्रिया में भी प्रभावी बनाता है। यह हमें व्यक्तिगत और व्यावसायिक दोनों स्तरों पर सफलता प्राप्त करने के लिए समर्थ बनाता है।

इसके अतिरिक्त, सेल्फ रिस्पेक्ट का प्रभाव हमारे संबंधों पर भी पड़ता है। जब हम अपने आप को सम्मानित करते हैं, तो हमें दूसरों के साथ स्वस्थ और सकारात्मक संबंध स्थापित करने में सहायता मिलती है। हमारे आत्म-सम्मान का स्तर हमारे साथी और परिवार के सदस्यों के साथ बातचीत और व्यवहार को प्रभावित करता है। अगर हम खुद से प्रेम और सम्मान करते हैं, तो यह स्वाभाविक रूप से दूसरों को भी प्रेरित करता है। परिणामस्वरूप, हमारे सामाजिक संबंध और नेटवर्क मजबूत होते जाते हैं।

इस प्रकार, नियोजन केवल एक व्यक्तिगत गुण नहीं है, बल्कि यह हमारे चारों ओर के वातावरण पर भी गहरा प्रभाव डालता है। यह हमारे व्यक्तित्व का एक अभिन्न भाग है, जो न केवल हमारे आत्मविश्वास को बढ़ाता है, बल्कि हमें जीवन में सकारात्मकता फैलाने के लिए तैयार करता है। अपने सेल्फ रिस्पेक्ट को महत्व देकर, हम एक स्वस्थ और संपूर्ण जीवन जी सकते हैं।

लाखो लोगो के जीवन बदलने वाली किताबे पाने के लिए बुक नाम पर टैप कीजिए –

१) इनर इंजिनीरिंग – हिंदी (सद्गुरु)

Inner Engineering By Sadguru – English 

२)  जीवन के अद्भुत रहस्य – हिंदी ( गौर गोपाल दास )

    Life’s Amazing Secrets By Guar Gopal Das – English 

BEST POST

  1. सफलता के लिए ध्यान जरुरी है।| MEDITATION IS NECESSARY FOR SUCCESS

  2. कड़वी मगर सच्ची बातें: जीवन की संघर्षपूर्ण छवियाँ

  3. पूर्ण ज्ञान क्या है: एक सरल और स्पष्ट समझ

  4. इच्छाशक्ति क्या है: एक सरल व्याख्या

Spread the love
Posted in Motivational, मानसिक स्वास्थ्यTagged #selfrespect, #सेल्फरिस्पेक्ट, self in hindi, self ka matlab, self meaning in hindi, self respect in hindi, self respect ka matlab, self respect ka matlab kya hota hai, self-respect, self-respect meaning in hindi, सेल्फ रिस्पेक्ट, सेल्फ रिस्पेक्ट का अर्थ, सेल्फ रिस्पेक्ट का मतलब क्या है, सेल्फ रिस्पेक्ट का महत्व

Post navigation

प्लानिंग का महत्व
विद्यार्थियों के लिए मोटिवेशनल स्पीच

Related Post

  • मन को शांत कैसे करे woman in white vest and black bikini with hand on chest मन को शांत कैसे करे: तनाव और चिंता से मुक्ति | man ko shant kaise kare
  • समय क्या है समय क्या है: एक गहराई में अध्ययन | time kya hai
  • इच्छा शक्ति कैसे बढ़ाएं जिन्दगी का सच: एक गहन विश्लेषण
  • आज का खेल आज का खेल: खेलों की दुनिया में नवीनतम घटनाएँ
  • इच्छा शक्ति कैसे बढ़ाएं इच्छा शक्ति के चमत्कार: अपनी शक्ति को पहचानें
  • ध्यान के प्रकार ध्यान करने के फायदे | meditation karne ke fayde

Leave a Reply Cancel reply

Your email address will not be published. Required fields are marked *

SUCCESS motivation Copyright © 2025 • Theme by OpenSumo
  • Home
  • Blogs
  • About us
  • Privacy Policy
  • Contact Us
  • Term & Conditions